क्या आप जानते हैं 14 मनुओं के नाम
मनु कौन थे, जानिए 14 मनुओं के नाम
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सभी भाषाओं के मनुष्य-वाची शब्द मैन, मनुज, मानव, आदम, आदमी आदि सभी मनु शब्द से प्रभावित है। सभी मनु मानव जाति के संदेशवाहक हैं। संसार के प्रथम पुरुष स्वायंभुव मनु और प्रथम स्त्री थी शतरूपा। इन्हीं प्रथम पुरुष और प्रथम स्त्री की संतानों से संसार के समस्त जनों की उत्पत्ति हुई। मनु की संतान होने के कारण वे मानव कहलाए।
मानव उसे कहते हैं जिसमें जड़ और प्राण से कहीं ज्यादा सक्रिय है- मन। मनुष्य में मन की ताकत है, विचार करने की ताकत है, इसीलिए उसे मनुष्य कहते हैं। चूंकि यह सभी 'मनु' की संतानें हैं इसीलिए मनुष्य को मानव भी कहा जाता है।
मनु कौन थे, जानिए
14 मनुओं के नाम
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कौन है मनु : मनु है एक मनुष्य जो अपने कर्मों से महान बन गए। जिन्होंने मानव समाज को शिक्षित, विकसित और समझदार बनाने के लिए धर्म, शिक्षा, तकनीक, व्यवस्था और कानून दिया। ठीक उसी तरह जिस तरह जैन धर्म में 14 कुलकरों ने समाज के लिए काम किया। इन्होंने स्वयं को कभी भगवान नहीं माना बल्कि यह वेदों की सच्ची राह पर चलते गए और महान राजा बन गए। राजा मनु।
मनु 14 हैं। उनके नाम हैं-
(1) स्वायम्भुव, (2) स्वारोचिष, (3) उत्तम, (4) तामस, (5) रैवत, (6) चाक्षुष, (7) वैवस्वत, (8) सावर्णि, (9) दक्षसावर्णि, (10) ब्रह्मसावर्णि, (11) धर्मसावर्णि, (12) रुद्रसावर्णि, (13) देवसावर्णि तथा (14) इन्द्रसावर्णि।
(1) स्वायम्भुव, (2) स्वारोचिष, (3) उत्तम, (4) तामस, (5) रैवत, (6) चाक्षुष, (7) वैवस्वत, (8) सावर्णि, (9) दक्षसावर्णि, (10) ब्रह्मसावर्णि, (11) धर्मसावर्णि, (12) रुद्रसावर्णि, (13) देवसावर्णि तथा (14) इन्द्रसावर्णि।
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